गुरुवार, 3 जुलाई 2025

एनीमियत पीरियड: कारण, लक्षण, घरेलू उपाय और डॉक्टर की सलाह

एनीमियत पीरियड: कारण, लक्षण, घरेलू इलाज और डॉक्टर की सलाह

महिलाओं के जीवन में मासिक धर्म (Period) एक सामान्य और जरूरी प्रक्रिया है, जो हर महीने होती है। लेकिन जब यह समय पर न आए या बहुत जल्दी या बहुत देर से आए, तो इसे एनीमियत पीरियड (Irregular Periods) कहा जाता है। यह स्थिति महिलाओं के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकती है।


एनीमियत पीरियड क्या है?

सामान्य रूप से पीरियड का चक्र 21 से 35 दिनों के बीच होता है। अगर किसी महिला को हर महीने अलग-अलग दिन पीरियड आता है, या कई बार महीनों तक पीरियड नहीं होता, तो यह एनीमियत पीरियड की स्थिति मानी जाती है।

अनियमित पीरियड्स की जानकारी देती महिला की छवि
अनियमित पीरियड्स की समस्या और समाधान – जानिए विस्तार से

एनीमियत पीरियड के लक्षण

1. पीरियड का समय बदलना – हर महीने अलग तारीख को पीरियड आना।


2. बहुत ज्यादा या बहुत कम ब्लीडिंग – सामान्य से अधिक या बहुत कम खून आना।


3. पीरियड्स का बीच में रुक जाना – एक-दो महीने पीरियड न आना


4. पीरियड के दौरान अत्यधिक दर्द – सामान्य से ज्यादा ऐंठन या पेटदर्द।


5. स्मेयरिंग या स्पॉटिंग – पीरियड से पहले या बाद में हल्की ब्लीडिंग होना।


6. मूड स्विंग्स और थकान – हार्मोनल बदलाव के कारण चिड़चिड़ापन और कमजोरी महसूस होना।


एनीमियत पीरियड के संभावित कारण

1. तनाव (Stress) – मानसिक तनाव हार्मोन पर असर डालता है, जिससे चक्र प्रभावित होता है।


2. हार्मोन असंतुलन – थायरॉइड, प्रोलैक्टिन या एस्ट्रोजन-प्रोजेस्ट्रोन के असंतुलन से।


3. पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (PCOS) – महिलाओं में यह आम समस्या है जिससे पीरियड अनियमित हो जाते हैं।


4. अत्यधिक वजन घटाना या बढ़ना – अचानक वजन में बदलाव चक्र को प्रभावित करता है।


5. अनुचित खानपान – पौष्टिक आहार की कमी से शरीर कमजोर होता है।


6. अत्यधिक व्यायाम – अधिक फिजिकल एक्टिविटी से भी हार्मोन बदल सकते हैं।


7. बर्थ कंट्रोल पिल्स का सेवन – कई बार दवाइयों के कारण भी पीरियड में गड़बड़ी होती है।


घरेलू इलाज (Home Remedies) – आयुर्वेदिक और प्राकृतिक उपाय


ध्यान दें: घरेलू उपाय हल्की समस्याओं में मददगार हो सकते हैं, लेकिन गंभीर स्थिति में डॉक्टर से सलाह लेना आवश्यक है।


1. अदरक और शहद

अदरक हार्मोन को संतुलित करने में मदद करता है।

एक कप पानी में अदरक उबालें, थोड़ा ठंडा होने पर शहद मिलाकर पीएं।

दिन में एक बार 15 दिन तक सेवन करें।


2. मेथी के दाने (Fenugreek Seeds)

मेथी का पानी पीरियड को नियमित करने में मदद करता है।

एक चम्मच मेथी को रातभर पानी में भिगोकर सुबह खाली पेट पिएं।


3. गुड़ और तिल

गुड़ और तिल का सेवन ब्लड फ्लो को सुधारता है।

1 चम्मच तिल और गुड़ को मिलाकर रोज खाएं, खासकर सर्दियों में।


4. दालचीनी (Cinnamon)

यह गर्म प्रकृति की होती है और ब्लड सर्कुलेशन बेहतर करती है।

एक चुटकी दालचीनी पाउडर दूध में मिलाकर पिएं।


5. एलोवेरा जेल

प्राकृतिक हार्मोन बैलेंस करने में सहायक।

फ्रेश एलोवेरा जेल को शहद के साथ मिलाकर रोज सुबह लें।


6. हल्दी वाला दूध

हल्दी में एंटीसेप्टिक और हीटिंग प्रॉपर्टीज होती हैं।

रात को सोने से पहले एक गिलास दूध में आधा चम्मच हल्दी मिलाकर पिएं।


जीवनशैली में बदलाव

1. योग और ध्यान (Yoga & Meditation)

स्ट्रेस कम करने के लिए रोजाना 15–30 मिनट ध्यान करें।

"भुजंगासन", "सर्वांगासन" और "प्रणायाम" लाभकारी होते हैं।


2. संतुलित आहार

आयरन, कैल्शियम और विटामिन-बी युक्त चीजें खाएं।

फास्ट फूड, कैफीन और तैलीय भोजन से परहेज करें।


3. वजन नियंत्रण

न तो बहुत ज्यादा पतले हों, न ही मोटापे की ओर जाएं।


4. नींद पूरी लें

हर रोज कम से कम 7–8 घंटे की नींद लें।


डॉक्टर से कब सलाह लें?

घरेलू उपाय हमेशा हर किसी के लिए प्रभावी नहीं होते। नीचे दी गई परिस्थितियों में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें:


2-3 महीने से पीरियड न आए हों।

अत्यधिक ब्लीडिंग हो या 7 दिन से ज्यादा चले।

अत्यधिक पेट या पीठ दर्द हो।

संदेह हो कि गर्भावस्था की समस्या है।

बार-बार स्पॉटिंग हो रही हो।

अचानक वजन बहुत बढ़ रहा हो या चेहरे पर अनचाहे बाल आ रहे हों (PCOS के लक्षण)।


डॉक्टर द्वारा ब्लड टेस्ट, अल्ट्रासाउंड या हार्मोनल जांच कर सही कारण पता लगाया जा सकता है।


निष्कर्ष (Conclusion)

एनीमियत पीरियड कोई बड़ी बीमारी नहीं है, लेकिन इसे नजरअंदाज करना ठीक नहीं। सही खानपान, नियमित व्यायाम, तनावमुक्त जीवन और समय पर जांच से इसे काफी हद तक नियंत्रित किया जा सकता है। यदि घरेलू उपायों से आराम न मिले तो डॉक्टर की सलाह अवश्य लें।

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